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रामभरोसे होगी गगनचुंबी इमारतों की अग्निसुरक्षा! …२२ वीं मंजिल तक ही पहुंचने की हैं अग्निशमन की सीढ़ियां

-राज्य सरकार इमारतों की ऊंचाई बढ़ाने पर कर रही है विचार

सामना संवाददाता / मुंबई
राज्य सरकार मुंबई में गगनचुंबी इमारतों की ऊंचाई १२० मीटर से बढ़ाकर १८० मीटर करने का प्रयास कर रही है। यदि इस संबंध में निर्णय हो जाता है तो निकट भविष्य में मुंबई में ५० से ६० मंजिली इमारतें बनाई जाएंगी। यदि दुर्भाग्यवश इन इमारतों में आग लग गई तो वर्तमान में फायर ब्रिगेड के पास सीढ़ियों के जरिए २२वीं मंजिल तक ही पहुंचने और आग पर काबू पाने के साधन हैं, वहीं गगनचुंबी इमारतों के फर्श पर आग पर नियंत्रण की प्राथमिक जिम्मेदारी स्वयं समाज की है। अग्निशमन विभाग ने स्पष्ट किया है कि इस उद्देश्य के लिए अत्याधुनिक अग्नि निवारण प्रणालियां स्थापित करना सोसायटियों की जिम्मेदारी है।
जमीन खत्म होने के बाद पिछले कुछ सालों में मुंबई में ४० से ४५ मंजिलों वाली कई इमारतें बन गई हैं, लेकिन अब इन इमारतों की ऊंचाई और भी ज्यादा बढ़ने वाली है। शहरी विकास विभाग मुंबई में इमारतों की ऊंचाई १२० मीटर से बढ़ाकर १८० मीटर करने पर विचार कर रहा है।

अग्निशमन विभाग के पास वर्तमान में विश्वस्तरीय अग्निसुरक्षा उपकरण हैं। दुनियाभर में ऐसी प्रणाली मौजूद है, जिसके माध्यम से आप वाहन में सीढ़ी लगाकर २२वीं मंजिल तक पहुंच सकते हैं और आग पर काबू पा सकते हैं। इसके ऊपर की मंजिलों पर आग पर काबू पाने की प्राथमिक जिम्मेदारी उसी सोसायटी की है। इसके लिए उनकी अग्नि निवारण प्रणाली चालू होनी चाहिए। साथ ही, सोसायटी का यह भी दायित्व है कि वह निवासियों को आग लगने की स्थिति में सुरक्षित रूप से निकलने का प्रशिक्षण दे। यदि सोसायटी इसके लिए हमसे संपर्क करती है तो हम सशुल्क प्रशिक्षण देते हैं। – रवींद्र आंबुलगेकर, मुख्य अग्निशमन अधिकारी

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