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इन्नोवेशन, डिजाइन और एंटरप्रिन्योरशिप वक्त की दरकार

सामना संवाददाता / मुरादाबाद

क्वालिटी सर्किल फोरम ऑफ इंडिया- क्यूसीएफआई के प्रेसीडेंट  अविनाश मिश्रा ने इन्नोवेशन, डिजाइन और एंटरप्रिन्योरशिप पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा, इन्नोवेशन, डिजाइन और एंटरप्रिन्योरशिप वक्त की दरकार हैं। हमें समय के अनुसार अपने आप को बदलना होगा। नई तकनीक और आइडियाज़ को आत्मसात करना होगा, जिससे हम दुनिया के संग कदमताल कर सकें। उन्होंने कहा, सफल करियर के लिए अपने कार्य को सच्चे मन से पूरी ईमानदारी से करना चाहिए। हमें हमेशा स्टुडेंट बने रहना चाहिए ताकि हम हर दिन कुछ न कुछ सीखते रहें। हमारी वर्किंग हाई क्वालिटी की होनी चाहिए। हमें अपनी वर्किंग को धैर्य, समर्पण के संग पॉजिटिव माइंटसेट से करना चाहिए। जीवन साथी का चुनाव समझदारी से करना चाहिए ताकि पारिवारिक जीवन और प्रोफेशनल जीवन में सामंजस्य बना रहे। हमारा उद्देश्य होना चाहिए कि हम समाज के लिए बेस्ट करें। किसी भी कंपनी या संस्थान को न्यूकमर्स एम्पलाइ से बहुत सी अपेक्षाएं होती हैं। जैसे क्या एम्पलाइ को कार्य के थ्योरीटिकल कॉन्सेप्ट की समझ है? क्या वह इस कॉन्सेप्ट को व्यावहारिक रूप में प्रयोग करने की क्षमता रखता है? कार्य की समझ है या नहीं? समय का पाबंद है या नहीं? ईमानदारी और संस्थान के लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्ध है या नहीं? श्री मिश्रा तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी, मुरादाबाद की ओर से लीडरशिप टॉक सीरीज सेशन-11 में ट्रांसफॉर्मिंग आइडियाज़ इनटू इम्पैक्टः इन्नोवेशन, डिजाइन एंड एंटरप्रिन्योरशिप एट वर्क पर बतौर मुख्य वक्ता बोल रहे थे।

इससे पूर्व अविनाश मिश्रा ने बतौर मुख्य वक्ता, डीन एकेडमिक्स प्रो. मंजुला जैन, क्यूसीएफआई के नॉर्थ जोन डायरेक्टर अविनाश उपाध्याय आदि ने मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित करके टॉक सीरीज के 11वें सेशन का ऑडी में शुभारंभ किया। डीन एकेडमिक्स प्रो. मंजुला जैन ने स्वागत भाषण दिया। डिप्टी रजिस्ट्रार डॉ. वरुण कुमार सिंह ने वोट ऑफ थैक्स, प्रो. रवि जैन ने कंक्लूडिंग रिमार्क दिया। सभी अतिथियों का बुके देकर स्वागत किया गया। स्मृति चिन्ह और सर्टिफिकेट देकर सम्मानित किया गया। संचालन असिस्टेंट डायरेक्टर एकेडमिक्स डॉ. नेहा आनन्द ने किया। सेशन के द्वितीय सत्र मैनेजमेंट डवलपमेंट प्रोग्राम- इम्पावरिंग एक्सीलेंसः लेवरेजिंग क्वालिटी सर्किंल फॉर ऑर्गेनाइजेशनल ग्रोथ एंड कंटीन्यूअस इम्प्रूवमेंट में क्वालिटी सर्किल की अवधारणाओं को आत्मसात करने पर गहनता से मंथन हुआ। क्वालिटी सर्किल से संस्थान की विभिन्न प्रॉब्लम्स की पहचान करके उसका समाधान करने में मदद मिलेगी। क्वालिटी सर्किल का उद्देश्य टीएमयू को उत्कृष्टता की संस्कृति विकसित करने और स्टुडेंट्स को एक प्रतिस्पर्धी वैश्विक माहौल के अनुसार तैयार करने में मदद करना है। इसमें डीन स्टुडेंट वेलफेयर प्रो. एमपी सिंह, डेंटल के प्रिंसिपल प्रो. प्रदीप तांगडे, टिमिट के डीन प्रो. विपिन जैन, एसोसिएट डीन रिसर्च प्रो. ज्योति पुरी, एग्रीकल्चर के डीन प्रो. प्रवीन जैन, नर्सिंग की डीन प्रो. एसपी सुभाषिनी, पैरामेडिकल के प्रिंसिपल प्रो. नवनीत कुमार, लॉ कॉलेज के प्रिंसिपल प्रो. सुशील कुमार सिंह, फार्मेसी के प्रिंसिपल प्रो. अनुराग वर्मा, फिजियोथैरेपी की एचओडी डॉ. शिवानी एम. कौल, डेंटल की डायरेक्टर गवर्नेंस श्रीमती नीलिमा जैन, आईकेएस की ज्वाइंट रजिस्ट्रार डॉ. अलका अग्रवाल आदि के संग-संग एडमिनिस्ट्रेटर और सीनियर प्रोफेसर्स शामिल रहे।

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