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चॉकलेट की तरह  डोलो खा रहे भारतीय! …अमेरिकी डॉ. की पोस्ट से मचा हड़कंप …जानिए कितनी ख़तरनाक है ये टैबलेट?

आजकल हर घर में डोलो ६५० ऐसे पड़ी रहती है जैसे नमक-तेल-मिर्च। इनका इस्तेमाल भी धड़ल्ले से हो रहा है। भारतीय घरों में ये दवा रामबाण मानी जाती है, जो हर उम्र के लोगों को दे दी जाती है। हल्का-फुल्का बुखार होते ही लोग तुरंत इस दवा को खा लेते हैं, मगर क्या आप जानते हैं यह गोली आपकी सेहत को कितना नुकसान पहुंचा सकती है? कोरोना के दौरान डॉक्टरों द्वारा इस दवा को खाने की सलाह दी गई थी, मगर ऐसे नहीं कि लोग बिना परामर्श इसका सेवन करते रहें। भारतीय मूल के अमेरिकी डॉक्टर पलानीअप्पन मणिकम ने हाल ही में एक ट्वीट कर कहा कि भारतीय लोग डोलो ६५० को चॉकलेट की तरह खा रहे हैं। उनका यह ट्वीट स्वास्थ्य के प्रति एक नई जागरूकता को उजागर कर रहा है। डॉक्टर के इस पोस्ट से सोशल मीडिया पर हड़कंप मच गया है।
बता दें कि बुखार, सिरदर्द और बॉडी पेन, कोई भी समस्या हो भारतीय लोग तुरंत राहत पाने के लिए इस मेडिसिन को खा लेते हैं। इसकी खुराक तो मानों ऐसी हो गई है जैसे की मिठाई। गैस्ट्रो एक्सपर्ट डॉक्टर पलानीअप्पन मनिकम का ट्वीट दर्शाता है कि भारतीय लोग इस दवा के कितने आदी हो गए है। इस गोली के इतने ज्यादा ट्रेंड में आने का कारण यह है कि इसे कोरोना के समय दुनियाभर के हेल्थ एक्सपर्ट्स ने लोगों को हल्के-फुल्के बुखार होने पर खाने की सलाह दे दी थी। इसके अलावा, यह दवा बिना परामर्श के लोकल मेडिकल स्टोर में आसानी से मिल जाती है और किफायती भी होती है। यह दवा तुरंत असर भी करती है लेकिन आपको यह भी जानना होगा कि इस दवा के कई साइड-इफेक्ट्स भी है।

डोलो की ओवरडोज डरा रहा है
डोलो ६५० को अधिक मात्रा में खाना खतरे से खाली नहीं है। इस दवा को खाने से शरीर इस गोली के रेजिस्टेंट हो जाता है। डोलो खाने से लिवर को नुकसना होता है, किडनी पर असर होता है और सिरदर्द की समस्या बढ़ भी सकती है। स्ट्रेस बढ़ने का एक कारण भी इस दवा का ओवरडोज है। कई मेडिकल रिपोर्ट इस बात का दावा कर चुकी है कि डोलो की ओवरडोज से एक्यूट लिवर फेलियर की समस्या हो सकती है। कई बार यह दवा शरीर के अंदर मौजूद गंभीर बीमारी के लक्षणों को कम कर उसे दबा देती है, जिस कारण आगे चलकर खतरा बढ़ सकता है।

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