बांग्लादेश में इस्कॉन के महंत चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी के बाद माहौल काफी गर्माया है। दरअसल चटगांव की एक अदालत ने मंगलवार को चिन्मय कृष्ण दास ब्रह्मचारी की जमानत याचिका खारिज कर उन्हें जेल भेजने का आदेश दिया। जमानत खारिज किए जाने के बाद दास के समर्थकों ने इसका विरोध किया है और बांग्लादेश सरकार और प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। प्रदर्शनकारियों ने अदालत परिसर में प्रिजन वैन को घेर लिया और करीब ढाई घंटे तक विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान हिंदू प्रदर्शनकारियों पर कड़ी कार्रवाई करते हुए पुलिस ने लाठीचार्ज किया और साउंड ग्रेनेड भी दागे। बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार आउट ऑफ कंट्रोल हो रहा है और देश के पीएम नरेंद्र मोदी मौन हैं।
बांग्लादेश पुलिस ने सोमवार को ढाका के हजरत शाहजलाल अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के इलाके से बांग्लादेश के हिंदू धर्मगरु चिन्मय कृष्ण दास ब्रह्मचारी को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस की खुफिया शाखा के प्रवक्ता रेजाउल करीम ने बताया कि दास को (पुलिस) के अनुरोध के अनुरूप हिरासत में लिया गया। करीम ने बताया कि दास को आगे की कानूनी प्रक्रिया के लिए संबंधित थाने को सौंप दिया जाएगा। करीम ने कहा कि दास को हजरत शाहजलाल अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर हिरासत में लिया गया। हालांकि, उन्होंने उन आरोपों का विवरण नहीं दिया, जिनके आधार उन्हें गिरफ्तार किया गया। दास इस्कॉन के संत थे। हालांकि वह इस्कॉन से अलग हो गए थे। बांग्लादेश हिंदू बौद्ध ईसाई एकता परिषद ने हिरासत की निंदा करते हुए कहा कि इससे दुनिया में बांग्लादेश की छवि प्रभावित हो सकती है।