सब बम बम बा…

हर कलाकार चाहता है कि लोग उसकी कला को सराहें और इसके लिए वो अथक प्रयास भी करता है, लेकिन कई बार कलाकार को न तो इसके लिए अवॉर्ड मिलता है और न रिवॉर्ड। हिंदी फिल्मों के साथ ही भोजपुरी फिल्मों में भी अपने अभिनय का झंडा गाड़ने वाले रविकिशन को अब तक न जाने क्यों अवॉर्ड के लायक नहीं समझा गया, जबकि कई बार अवॉर्ड फंक्शन में रेवड़ियों की तरह कलाकारों के बीच अवॉर्ड बंटते हुए देखा गया है। खैर, ७५० फिल्मों में काम करने के बाद जीवन में पहली बार अवॉर्ड का स्वाद चखने वाले रविकिशन को २५वें आईफा डिजिटल अवॉर्ड में फिल्म ‘लापता लेडीज’ के लिए अवॉर्ड क्या मिला, उनके चेहरे की खुशी देखने लायक थी। अपने डायलॉग ‘जिंदगी झंड बा फिर भी घमंड बा’ से लोगों का ध्यान अपनी ओर आकर्षित करनेवाले रविकिशन ने अपने पहले अवॉर्ड के मिलने की खुशी को कुछ इस तरह जाहिर करते हुए कहा कि अब मैं नहीं कहूंगा कि जिंदगी झंड बा। अब कहूंगा सब बम बम बा!

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