सामना संवाददाता / मुंबई
महाराष्ट्र राज्य लॉटरी, जिसकी एक गौरवशाली परंपरा रही है, पर प्रतिबंध लगाने के प्रशासनिक कदमों को रोक दिया गया है और वि़क्रेता नेता विलास सातार्डेकर के आक्रामक नेतृत्व के कारण प्रतिबंध का संकट टल गया है। विक्रेताओं के संघर्ष की अंतत: जीत हुई है। विक्रेताओं के प्रतिनिधियों ने मंत्रालय में महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री अजीत पवार से मुलाकात की और प्रतिबंध का कड़ा विरोध किया। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि विक्रेताओं की भावनाओं पर सकारात्मक विचार किया जाएगा और जल्द ही मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उप मुख्यमंत्री एकनाथ से इस बारे में चर्चा की जाएगी। राज्य सरकार विक्रेताओं के साथ है!
महाराष्ट्र राज्य लॉटरी ३१ मार्च तक जारी रहनी चाहिए और उसके बाद बंद कर दी जानी चाहिए तथा लॉटरी टिकट नहीं छापने का जो निर्देश जारी किया गया था। वह इस बैठक के बाद टल गया तथा संभावना है कि विकल्प के रूप में पुन: लॉटरी छापने का निर्णय लिया जाएगा। लॉटरी बंद होने पर हजारों विक्रेता और उन पर निर्भर लाखों लोगों को भूखमरी के संकट का सामना करना पड़ेगा। इसलिए लॉटरी विक्रेताओं के आक्रामक नेता विलास सातर्डेकर ने राज्यभर में लॉटरी विक्रेताओं का आंदोलन खड़ा किया। लॉटरी विक्रेताओं के दबाव के आगे सरकार झुक गई। सातार्डेकर ने संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि यह लॉटरी विक्रेताओं की जीत है।
विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे ने भी इस मुद्दे पर पहल की थी और मांग की थी कि मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री लॉटरी विक्रेताओं के मुद्दे पर ध्यान दें। उन्होंने यह भी कहा था कि सभी को मिलकर लॉटरी को बंद करने की बजाय इसे नए तरीके से शुरू करना चाहिए। इस बैठक के बाद विक्रेताओं से बात करते हुए सातार्डेकर ने कहा कि भले ही प्रतिबंध का खतरा फिलहाल टल गया है, लेकिन विक्रेताओं की जिम्मेदारी बढ़ गई है। अब से हम सब लॉटरी को रिकॉर्ड ऊंचाई पर बेचकर अपने अधिकारों और कर्तव्यों का पालन करें। यह एकता भविष्य में भी बनी रहे, ताकि हमारी मांगों को न्याय मिल सके।
इस बैठक में विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे, विधायक सुनील शिंदे उपस्थित थे। इसी तरह सभी संगठनों के प्रतिनिधि चंद्रकात मोरे, स्नेहल शाह, मनोज वारंग, दिलीप धुरी, अनुज बाजपेयी, गणेश कदम राजेश बोरकर, कमलेश विश्वकर्मा, अविनाश सावंत, सिद्धेश पाटील के साथ ही आयोजक विजय सामी, महेंद्र गणात्रा, मनीष शाह, महेश गौड़ा और भारी मात्रा में लॉटरी विक्रेता उपस्थित थे।