सामना संवाददाता / मुंबई
भाजपा ने भविष्य में यदि शिंदे गुट और अजीत पवार गुट को तोड़ दिया तो इसमें कोई आश्चर्य की बात नहीं होनी चाहिए। ऐसा जोरदार तंज कराते हुए शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के नेता और सांसद संजय राऊत ने भाजपा पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि भाजपा आने वाले समय में शिंदे और अजीत पवार गुटों को दो-दो भागों में बांट सकती है। उन्होंने कहा कि वर्तामान में महाराष्ट्र का नेतृत्व दिल्ली के सामने सिर झुकाकर खड़ा है और केवल जी हुजूरी कर रहा है। दिल्ली में पत्रकारों से बात करते हुए संजय राऊत ने कहा कि आज हालात ऐसे हैं कि बहुमत के बाद भी महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री तय करने के लिए महायुति में बार-बार बैठकें हो रही हैं। मुख्यमंत्री अब तक तय नहीं हो पाया है। उन्होंने कहा कि हालांकि यह चुनाव परिणाम हमें मंजूर नहीं है। लेकिन लोकतंत्र में आंकड़े महत्वपूर्ण होते हैं, चाहे वे वैâसे भी हासिल किए गए हों। उन्होंने यह भी कहा कि पुणे में गांधीवादी नेता बाबा आढाव ने ईवीएम घोटाले के खिलाफ आत्मक्लेश आंदोलन शुरू किया है। ९५ साल के यह नेता सड़कों पर उतरे हैं, जो इस चुनाव के परिणामों का रहस्य उजागर करता है। राऊत ने बाबा आढाव के आंदोलन की सराहना करते हुए कहा कि महाराष्ट्र को लोकतंत्र की मशाल बुझने नहीं देनी चाहिए। उन्होंने लोगों से इस आंदोलन का समर्थन करने की अपील की।
संजय राऊत ने कहा कि महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री कौन होगा, प्रशासन वैâसे चलेगा, मुंबई का पुलिस आयुक्त कौन होगा और यहां का व्यापार कौन करेगा, यह सब अब दिल्ली में तय किया जाता है। महायुति में शामिल महाराष्ट्र के नेताओं का स्वाभिमान खत्म हो गया है। उन्होंने दिल्ली के सामने आत्मसमर्पण कर दिया है और केवल अपने पदों के लिए जी हजूरी कर रहे हैं। संजय राऊत ने कहा कि भाजपा ने शिंदे गुट और अजीत पवार गुट से अपना काम करवा लिया है। शिवसेना और राष्ट्रवादी जैसे दलों को तोड़ने में इनका इस्तेमाल किया गया। अब जब उनका काम खत्म हो गया है, तो भाजपा अगर इन दलों को तोड़कर अपना बहुमत सिद्ध करती है, तो इसमें कोई हैरानी की बात नहीं होगी। महायुति में शामिल दलों को मिली जीत की सीटों की संख्या को लेकर राऊत ने कहा कि इन नेताओं को ईवीएम, पीएम मोदी और भाजपा नेता शाह की पूजा करनी चाहिए और इसके मंदिर बनाने चाहिए। क्योंकि इनके चेहरे की मुस्कान ईवीएम की वजह से ही बरकरार है। उन्होंने मतपत्र के माध्यम से चुनाव कराने की मांग दोहराई। अजीत पवार पर कटाक्ष करते हुए संजय राऊत ने कहा कि वे हमेशा उप मुख्यमंत्री ही रहेंगे। न वे पूर्व होते हैं, न भावी, बल्कि हमेशा उप मुख्यमंत्री रहते हैं।