-ट्रक से करते थे क्रॉस, तमाम तरह की सख्ती को ठेंगा
-असम और त्रिपुरा से ३२ किलो मेथामफेटामाइन टैबलेट्स जब्त
सामना संवाददाता / नई दिल्ली
भारत-म्यांमार बॉर्डर पर तमाम तरह की सख्ती के बावजूद ड्रग तस्करी के मामले थम नहीं रहे हैं। इस बार तो चौंकाने वाला मामला सामने आया है। तस्करों ने नशीले पदार्थ की खेप भारत में लाने के लिए सुरंग बना डाली। सुरंग की लंबाई और चौड़ाई का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि इससे ट्रक तक क्रॉस कर रहा था। राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) ने असम और त्रिपुरा से ३२ किलो मेथामफेटामाइन टैबलेट्स जब्त की हैं, जिनकी कीमत लगभग ३२ करोड़ रुपए है। इन दो मामलों में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
डीआरआई ने १९ जनवरी को असम के कछार जिले के द्वारबंद बाजार क्षेत्र में २६ किलो मेथामफेटामाइन टैबलेट्स जब्त की। इसे मिजोरम में भारत-म्यांमार सीमा के माध्यम से भारत में तस्करी कर लाई गई थी। इस ऑपरेशन में असम राइफल्स (सिलचर) की भूमिका अहम रही। इस मामले में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया है। वित्त मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि अंतरराष्ट्रीय अवैध ड्रग बाजार में जब्त की गई ड्रग की कीमत लगभग २६ करोड़ रुपए आंकी गई है। यह बड़ी मात्रा में अवैध ड्रग्स एक विशेष रूप से निर्मित गुफा में एक अशोक लीलैंड ट्रक में ले जाई जा रही थीं।
डीआरआई की कार्रवाई
जब्त किए गए अवैध ड्रग्स में २३१ किलो से अधिक मेथामफेटामाइन टैबलेट्स, १६ किलो हेरोइन, १,३७५ किलो गांजा (वैâनबिस) और ३.७ किलो हाइड्रोपोनिक वीड शामिल हैं, जिनकी कुल कीमत ३५५ करोड़ रुपए से अधिक है। अवैध ड्रग्स की तस्करी और परिवहन के लिए उपयोग किए गए ३२ वाहनों (१९ कारें और १३ ट्रक) को भी जब्त किया गया है। बयान में आगे कहा गया है कि हवाई यात्रियों द्वारा पूर्वोत्तर में हाइड्रोपोनिक वीड की तस्करी एक नई प्रवृत्ति है। हाइड्रोपोनिक वीड एक प्रकार की मारिजुआना है, जो पारंपरिक तरीके से मिट्टी में नहीं बल्कि पोषक तत्वों से भरपूर पानी में उगाई जाती है।
अगरतला में भी बरामदगी
एक अन्य मामले में डीआरआई ने २० जनवरी को त्रिपुरा के अगरतला के बाहरी इलाके में एक ट्रक से ६ किलो मेथामफेटामाइन टैबलेट्स जब्त कीं, जिनकी कीमत ६ करोड़ रुपए है। ड्रग्स ट्रक के डैशबोर्ड के नीचे छिपाई गईं थीं। इस मामले में दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है। मौजूदा फाइनेंशियल ईयर में अब तक डीआरआई ने पूर्वोत्तर में तस्करी और अवैध ड्रग्स की तस्करी के ३६ मामले दर्ज किए हैं और ७० लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें सात महिलाएं शामिल हैं।
भारत-म्यांमार बॉर्डर पर सुरंग बना दी गई। जब इसका पता चला तो सुरक्षाबल के जवानों के होश भी उड़ गए। टनल का इस्तेमाल ड्रग तस्करी के लिए किया जाता था।