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वसई-विरार, मीरा-भायंदर में महिलाएं नहीं हैं सुरक्षित! …बलात्कार और छेड़छाड़ के मामलों में बेतहाशा वृद्धि

राधेश्याम सिंह / विरार
मीरा-भायंदर, वसई-विरार जैसे शहरों की महिलाएं सुरक्षित नहीं रह गई हैं। इन शहरों में २०२३ की तुलना में २०२४ में महिलाओं के खिलाफ हिंसा में वृद्धि हुई है। पिछले वर्ष की तुलना में बलात्कार के मामलों में ४७ और छेड़छाड़ के मामलों में ७७ की वृद्धि हुई है। बलात्कार और समाज के कुलीन लोगों द्वारा बलात्कार की घटनाओं में वृद्धि हुई है।
महिलाओं के विरुद्ध हिंसा को रोकने के लिए विभिन्न उपाय किए जा रहे हैं, फिर भी हिंसा की दर में कमी नहीं आ रही है। २०२३ में मीरा-भायंदर, वसई-विरार आयुक्तालय के अंतर्गत बलात्कार के ३६० और छेड़छाड़ के ४७७ मामले सामने आए, जबकि २०२४ बलात्कार के ४०७ और छेड़छाड़ के ५५५ मामले सामने आए हैं। इसमें महिलाओं को प्रेम जाल में फंसाकर, धोखा देकर, धमकी देकर तथा अश्लील फोटोग्राफ्स के जरिए ब्लैकमेल करके बलात्कार किए गए हैं। सड़क पर चलती महिलाओं के साथ छेड़छाड़ की घटनाएं भी बढ़ गई हैं। अन्य धाराओं की तरह छेड़छाड़, पीछा करना, गाली-गलौज और अश्लील मैसेज भेजने जैसे मामलों में भी छेड़छाड़ की धाराओं में केस दर्ज किए जाते हैं। इंस्टाग्राम युवाओं के बीच सबसे ज्यादा लोकप्रिय है, लेकिन सबसे ज्यादा अपराध सोशल मीडिया के जरिए ही हुए हैं। शिक्षकों, डॉक्टरों और राजनेताओं जैसे प्रमुख लोगों द्वारा भी बलात्कार की घटनाएं हुई हैं।

सामूहिक बलात्कार की प्रमुख घटनाएं
२ सितंबर को २०२४ में मीरा रोड में नाबालिग लड़की से तीन लोगों ने सामूहिक बलात्कार किया।
२३ सितंबर, २०२४ को नालासोपारा में दो लोगों ने नाबालिग लड़की के साथ सामूहिक बलात्कार किया गया।
२३ अक्टूबर, २०२४ को एक १६ वर्षीय लड़की के साथ उसके सहपाठी सहित दो लोगों ने बलात्कार किया तथा उसकी अश्लील तस्वीरें वायरल करने की धमकी दी।
९ सितंबर, २०२४ नालासोपारा-पूर्व में गणेश उत्सव देखने गई १० वर्षीय लड़की का अपहरण कर उसके साथ बलात्कार किया गया।

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