सामना संवाददाता / मुंबई
विधानसभा चुनाव कार्यक्रम की घोषणा के बाद कल महायुति ने अपनी योजनाओं का ब्याेरा देने के लिए एक प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया था। इसमें उन्होंने अपना रिपोर्ट कार्ड पेश किया। दो पन्ने के इस रिपोर्ट कार्ड में उन्होंने पिछले दो साल में किए गए कार्यों का विवरण पेश किया। इस प्रेस कांप्रâेंस में पत्रकारों ने अजीत पवार को जमकर घेरा। पत्रकारों ने अजीत पवार से सवाल किया कि आपका साथ छोड़कर भारी पैमाने पर आपके विधायक जा रहे है। इस सवाल पर अजीत पवार ने अपना दर्द बयां करते हुए कहा कि टिकट के लालच में जुटे कार्यकर्ता को टिकट नहीं दूंगा वे शरद पवार के साथ जाएंगे, जिन्हें मैं टिकट दूंगा वे यहीं रहेंगे।
२०२२-२४ का रिपोर्ट कार्ड देते समय हमें लगातार बताया जा रहा है कि खजाना खाली हो गया है और हम कर्ज में डूब गए हैं। उन्होंने कहा कि विपक्ष एक सोची-समझी रणनीति के तहत बदनाम करने की कोशिश कर रहा है। लाडली बहन योजना लोकप्रिय साबित हुई। जिसे विपक्ष पचा नहीं पा रहा है। अजीत पवार ने ये भी कहा कि हमने हर वर्ग की महिलाओं को न्याय दिलाने की कोशिश की है। जब हमने इस योजना की घोषणा की तो विरोधियों ने कहा कि यह योजना लागू नहीं होगी। यह भी कहा गया कि आवेदन तो भरवाए जाएंगे, लेकिन पैसा नहीं मिलेगा। लेकिन अब पांच महीने तक साढ़े सात हजार रुपए मिले हैं। उन्होंने यह भी कहा कि चूंकि सकारात्मक बदलाव पच नहीं रहे हैं, इसलिए यह पैसा चुनाव तक ही मिलेगा। ऐसा विपक्ष प्रचार कर रहा था। मैंने इसे बहुत जिम्मेदारी से किया है, मैंने शुरुआत में इस प्रोजेक्ट के लिए १० हजार करोड़ रुपए आवंटित किए थे, बाद में ३५ हजार करोड़ का प्रावधान किया गया। अब कुल ४५ हजार करोड़ का प्रावधान किया गया है।